राजकीय महाविद्यालय चिन्यालीसौड़ में कल दिनांक 4 अक्टूबर 2024 को पूर्व छात्र परिषद की सत्र 2024-25 हेतु बैठक आयोजित की गई।
कार्यक्रम का शुभारंभ महाविद्यालय के प्राचार्य एवं महाविद्यालय की पूर्व छात्र परिषद के संरक्षक प्रोफेसर प्रभात द्विवेदी जी ने ज्ञान की देवी मां सरस्वती को नमन एवं दीप प्रज्वलन करके किया।
कार्यक्रम में उपस्थित समस्त पूर्व छात्र परिषद के सदस्यों का बैज अलंकरण करके स्वागत एवं अभिनंदन किया गया।
कार्यक्रम की संयोजक श्रीमती कृष्णा डबराल ने बताया कि वर्ष 2022-23 में महाविद्यालय की पूर्व छात्र परिषद का पंजीकरण सोसाइटी एक्ट के अंतर्गत करवाया जा चुका है।
भूगोल के प्राध्यापक डॉ. किशोर सिंह चौहान ने कहा की पूर्व छात्र परिषद किसी भी महाविद्यालय के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान रखती है क्योंकि यह लोग ही महाविद्यालय के पिछले और वर्तमान विकास के वास्तविक प्रत्यक्षदर्शी होते हैं।
महाविद्यालय के प्राचार्य प्रोफेसर प्रभात द्विवेदी जी ने सभी आगंतुक पूर्व छात्र अतिथियों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि एक महाविद्यालय की पहचान उसके पूर्व छात्रों से होती है। पूर्व छात्र ही समाज में महाविद्यालय के दर्पण का कार्य करते हैं तथा देश को अपनी महत्वपूर्ण सेवाएं प्रदान करते हैं। उनकी सामाजिक गतिविधियों से ही संस्था की छवि निखरती है।
प्राचार्य प्रोफेसर प्रभात द्विवेदी जी ने जानकारी देते हुए बताया कि
राजकीय महाविद्यालय चिन्यालीसौड़ अपने विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास के लिए निरंतर प्रयासरत है। छात्र-छात्राओं के कौशल संवर्धन हेतु कंप्यूटर आधारित पूर्णतः निशुल्क एड ऑन कोर्स को संचालित किया जा रहा है। इसके साथ-साथ महाविद्यालय में उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय का अध्ययन केंद्र स्थापित हो चुका है और अगले सत्र से वाणिज्य स्नातक पाठ्यक्रम भी संचालित किया जाएगा। महाविद्यालय में स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम तथा बालिका छात्रावास भी शीघ्र शुरू करवाने के लिए हम प्रयासरत हैं।
आइक्यूएसी प्रभारी डॉ. रजनी लस्याल के कुशल नेतृत्व में समस्त अनुभवी एवं कर्मठ प्राध्यापक महाविद्यालय के विकास हेतु अतिरिक्त समय में भी योगदान कर रहे हैं।
बैठक के बाद पूर्व छात्र अतिथियों को महाविद्यालय में संचालित की जाने वाली स्मार्ट कक्षाओं, आधुनिक उपकरणों से युक्त प्रयोगशालाओं, पुस्तकालय आदि का निरीक्षण भी करवाया गया। सभी आगंतुक पूर्व छात्रों द्वारा महाविद्यालय के निरंतर विकास और विद्यार्थियों के प्रति शिक्षकों के समर्पण की मुक्त कंठ से प्रशंसा की गई और इस पर उन्होंने हार्दिक प्रसन्नता व्यक्त की।
पूर्व छात्रों का कहना था कि अपने 24 वर्षों के अंतराल में आज यह महाविद्यालय समूचे जनपद में अपनी अलग पहचान स्थापित कर चुका है, जिसके लिए महाविद्यालय के प्राचार्य प्रोफेसर प्रभात द्विवेदी जी और उनकी पूरी टीम धन्यवाद के पात्र हैं। पूर्व छात्रों ने भविष्य में भी महाविद्यालय को हर तरह से योगदान देने का आश्वासन दिया।
इस अवसर पर पूर्व छात्र परिषद के सदस्यों में श्री विनोद कोहली, श्रीमती मीना नेगी, श्रीमती मीनाक्षी डंगवाल, श्रीमती सरिता कोहली, श्रीमती मीनाक्षी राणा, श्रीमती कविता मेहरा, श्रीमती करिश्मा शाह, श्री कमलेश बिजलवान, श्रीमती बीना नौटियाल, श्रीमती रीना जोशी, श्रीमती प्रियंका, श्रीमती मधु रावत, श्रीमती मीनू, कु. लक्ष्मी डोभाल, श्रीमती दीपा, कु. कसक नौटियाल, कु. राखी, कु. सोनाली, कु. अंशिका आदि बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे। महाविद्यालय के डॉ. प्रमोद कुमार, डॉ. रजनी लस्याल, डॉ. आराधना सिंह, श्री खुशपाल, श्री विनीत कुमार, श्री बृजेश चौहान, डॉ. भूपेश चंद्र पंत, डॉ. सुगंधा वर्मा, डॉ. निशि दुबे, डॉक्टर प्रभात कुमार, कु. आराधना राठौर, श्री वैभव कुमार, डॉ. अशोक कुमार अग्रवाल, श्री आलोक बिजलवान, श्री रामचंद्र नौटियाल, श्रीमती संगीता थपलियाल, श्री कौशल सिंह बिष्ट, श्री स्वर्ण सिंह, श्री अमीर सिंह, श्रीमती हिमानी रमोला, श्री सुनील गैरोला, श्री मदन सिंह सहित समस्त महाविद्यालय परिवार उपस्थित रहा।