October 18, 2025

Naval Times News

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महाविद्यालय पोखड़ा में “खाद्य वस्तुओं पर वस्तु एवं सेवाकर लगाने के सम्बन्ध” में युवा संसद के अंतर्गत रखा प्रस्ताव

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आज दिनाँक 28 अगस्त को राजकीय महाविद्यालय पोखड़ा में “खाद्य वस्तुओं पर वस्तु एवं सेवाकर लगाने के सम्बन्ध” में युवा संसद प्रतियोगिता / कार्यक्रम के अंतर्गत प्रस्ताव लाया गया।

कार्यक्रम का शुभारंभ प्राचार्य प्रो० विद्या राय जी ने किया। उन्होंने सभी विद्यार्थियों को लोकतात्रिक मूल्यो एवं संसद की कार्यवाही के प्रति जागरूक किया साथ ही संसदीय मर्यादा का पालन करने के लिए कहा। उन्होने विद्यार्थियो को युवा संसद के माध्यम से राजनीतिक रूप से जागरूक रहकर एक सशक्त भारत के निर्माण में योगदान करने के लिए कहा।

युवा संसद के अंतर्गत लाये गये प्रस्ताव पर सर्वप्रथम पक्ष में बी०ए० तृतीय सेमेस्टर की संजना नेगी ने कहा कि वह वस्तु जो प्रत्यक्ष रूप से किसान से उपभोक्ता तक पहुँच रखती है जैसे दूध, अनाज आदि पर न्यूनतम जी०एस०टी० की दर लगाई जा सकती है।

इसी के साथ पक्ष में बोलते हुए बी०ए० पंचम सेमेस्टर एवं प्रथम सेमेस्टर की विद्यार्थी मीनाक्षी एवं अनीशा ने कहा कि उन वस्तुओं पर भी जो वस्तुएं पैकेट में आती है उन पर जी०एस०टी० की मध्यम अनुपात में दर लगाने की मांग की जिससे कि पैकेट वस्तुओं की खपत कम एवं उपभोक्ताओं को खुली वस्तुओं की ओर आकर्षित करेगा साथ ही इससे लोगो में स्वास्थ्या संबधी समस्याएं भी कम होगी।

इसी के साथ बी०ए० प्रथम सेमेस्टर की कोमल के पक्ष में बोलते हुये धूम्रपान पर कर लगाने का रागर्थन किया। यह न केवल स्वास्थ्या सुधार में मदद करेगा। बल्कि आर्थिक लाभ और सामाजिक बदलाव भी लायेगा। धूम्रपान पर कर एक प्रभावी नीति उपकरण है जो रामाज के लिए समग्र लाभकारी सिद्ध हो सकता है।

प्रस्ताव के विपक्ष में बोलते हुऐ सर्वप्रथम बी०ए० पंचग सेमेस्टर की आयुषी एंव प्रियंका ने कहा वर्तमान समय में खाद्य वस्तुओं पर कर लगाने की प्रवृत्ति बढानी जा रही है। हांलाकि यह कर सरकार के राजस्व को बढाने का एक उपाय हो सकता है इसके कई नाकारात्मक प्रभाव भी है, जो समाज के विभिन्न वर्गों पर गहरा प्रभाव डाल सकते है।

विपक्ष में बोलते हुऐ बी०ए० तृतीय सेमेस्टर की रानी, सुनीता एवं प्रथम सेमेस्टर की प्रिया जयोति एवं शीतल ने कहा कि कर लगने के कारण खाद्य वस्तुओं की कीमते बढ़ने से लोग सस्ते विकल्प की ओर रूख कर सकते है। जिससे उनमें पोषण की कमी हो सकती है। इससे स्वास्थ्या समस्याएं बढ़ सकती है, क्योंकि लोगो को स्वस्थ और पौष्टिक भोजन प्राप्त करना कठिन हो जाता है।

उपर्युक्त प्रस्ताव के पक्ष एवं विपक्ष को सुनने के बाद सदन के सभी सदस्यों ने खाद्य वस्तुओ पर कम कर लगाने का समर्थन किया और इसी के साथ ससंद की कार्यवाही समाप्ति की घोषणा की गयी। इस अवसर पर महाविद्यालय के प्राध्यापक एवं इस कार्यक्रम के संचालक डॉ० ऋषिकान्त प्रजापति, डॉ० देवानंद दुर्ग, श्री नरेश लाल अन्य स्टाफ में किशन सिंह, हेमलता एवं समस्त विद्यार्थी उपस्थित रहे।

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