Wednesday, October 15, 2025

समाचार

कांग्रेस में हरक की वापसी नहीं आसान, विधायक बन रहे रोड़ा

  • अटकी कांग्रेस में हरक की वापसी
  • हरीश रावत के बाद अब केदारनाथ विधायक मनोज रावत ने किया विरोध
  • कांग्रेस और हरीश की सभी शर्तें मंजूर, 100 बार माफी मांगने को तैयारः हरक सिंह

भाजपा से बर्खास्त किए जाने के बाद हरक बुरे फंसते नजर आ रहे हैं। भाजपा पर प्रेशर पॉलिटिक्स का हथकंडा फेल हो जाने के बाद उन्होंने सोचा था कि आसानी से उनकी कांग्रेस में घर वापसी हो जाएगी, किन्तु वे जितना आसान मान रहे थे, उतना आसान हो नहीं रहा है। हरीश रावत ने हरक की कांग्रेस में वापसी पर रोड़ा अटका दिया है। हालांकि आज हरक की कांग्रेस में वापसी होनी थी, किन्तु लाख कोशिशों के बाद भी हरीश रावत हरक की राह में रोड़ा बन गए और उनकी कांग्रेस में आज होने वाली वापसी टल गयी।

उधर केदारनाथ से कांग्रेस विधायक मनोज रावत अब हरक सिंह रावत के विरोध में खुलकर आये सामने आए हैं। मनोज रावत ने कहा कि हरक सिंह रावत 2016 में सरकार गिराकर गए थे, तब वह पूरी तरह से सरकार गिराने वाले मिशन को लीड कर रहे थे। 5 साल मंत्री पद की मलाई खाने के बाद अब जब भाजपा की सरकार आती हुई नजर नहीं आ रही है तो कांग्रेस में आ रहे हैं। प्रदेश के श्रम मंत्री के तौर पर उनका राज्य के लिए कोई योगदान नहीं रहा है।

बताते चलें कि भाजपा से निष्कासित होने के बाद पूर्व कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत ने पूर्व सीएम हरीश रावत की माफी मांगने की शर्त को स्वीकार करते हुए कहा कि वह 100 बार माफी मांगने को तैयार हैं। हरीश को बड़ा भाई बताते हुए हरक सिंह रावत ने कहा कि उन्हें कांग्रेस और हरीश की सभी शर्तें मंजूर हैं। उत्तराखंड के विकास के लिए वह कुछ भी कर सकते हैं। अगर उनके माफी मांगने पर उनके बड़े भाई हरीश उन्हें माफ कर देते हैं तो यह बहुत ही अच्छी बात होगी।

कहा कि ‘मैंने मंगलवार को कांग्रेस हाईकमान से बात की है। उनके कांग्रेस के दोबारा ज्वाइन करने पर उन्हें जल्द ही बताया जाएगा। कांग्रेस हाईकमान के फैसले पर ही मैं आगे की कोई रणनीति या कोई निर्णय ले पाऊंगा।
हरक सिंह रावत के कांग्रेस ज्वाइन करने पर पूर्व सीएम हरीश रावत ने गत दिवस कहा था कि हरक को कांग्रेस ज्वाइन करने से पहले माफी मांगनी चाहिए। कांग्रेस छोड़ने की गलती को हरक को स्वीकार करना होगा और तभी उनका कांग्रेस में दोबारा स्वागत होगा। हरीश ने कहा कि 2016 में हरक कांग्रेस पार्टी को संकट में डालकर भाजपा चले गए थे। हरीश ने दो टूक कहा कि कई पहलुओं पर विचार के बाद ही पार्टी हाईकमान कोई फैसला ले पाएगी। हरीश ने कहा था कि यदि कांग्रेस के लिए कोई काम करना चाहता है, तो करना चाहिए। किसी के हाथ बांधे नहीं जाते। हजारों लाखों लोग काम करते हैं।

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