इनकम टैक्स के छापे में खुला कोरोना काल में डॉक्टरों द्वारा डोलो दवाई DOLO medicine को प्रमोट करने का राज, 1000 करोड़ के ‘गिफ्ट’ का था मामला ।

बुखार कम करने वाली दवा Dolo-650 को बाजार में बढ़ावा देने के लिए इसकी निर्माता कंपनी ने जो हथकंडा अपनाया, उसको लेकर रोजाना नए खुलासे हो रहे हैं।

.आमतौर पर बुखार के इलाज में इस्तेमाल होने वाली डोलो-650 (Dolo-650) दवा हर घर में मिल जाती है । इस दवा की निर्माता कंपनी माइक्रो लैब्स (Micro Lab) ने कोरोना काल में इससे खूब मुनाफा कमाया। लेकिन, अब कंपनी द्वारा इस दवा को बढ़ावा देने के बदले डॉक्टरों को 1000 करोड़ रुपये के फ्री गिफ्ट देने का खुलासा हुआ है।

आयकर विभाग ने बुधवार 6 जुलाई को कथित रूप से टैक्स चोरी के आरोप में डोलो-650 मेडिसिन बनाने वाली कंपनी के बेंगलुरु स्थित दवा कंपनी माइक्रो लैब्स लिमिटेड पर छापेमारी की, जिसके बाद से लगातार कंपनी को लेकर नए-नए खुलासे हो रहे हैं।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार इस मेडिसिन को बढ़ावा देने के लिए कंपनी के द्वारा डॉक्टरों को 1 हजार करोड़ रुपए का फ्री गिफ्ट देने का आरोप है।

जानकारी के अनुसार, बीते छह जुलाई को इनकम टैक्‍स विभाग (Income Tax) की टीम ने माइक्रो लैब्स लिमिटेड (Micro Labs Ltd.) के नौ राज्यों में मौजूद 36 ठ‍िकानों पर छापा मारा। सीबीडीटी ने बताया कि कंपनी के खिलाफ कार्रवाई के बाद विभाग ने 1.20 करोड़ रुपये की अघोषित नकदी और 1.40 करोड़ रुपये की ज्वेलरी जब्त की थी।

कंपनी से ई-मेल के जरिए जब इस संबंध में पूछा गया, तो इसका कोई जवाब नहीं मिला। सीबीडीटी के मुताबिक, कंपनी द्वारा 1,000 करोड़ रुपये के फ्री गिफ्ट बांटने का राज उन दस्तावेजों और डिजिटल डेटा की जांच में खुला है, जो कि इनकम टैक्स के छापे के दौरान जब्त किए गए थे।

बता दें कि कोरोना महामारी के दौरान इस दवा की बिक्री में इस कदर उछाल आया था कि यह बाजार से गायब हो गई थी. 2020 में कोविड-19 के मामले सामने आने के बाद 350 करोड़ टैबलेट बेची गई थीं और एक साल में ही कंपनी ने करीब 400 करोड़ रुपये की कमाई की थी।

सीबीडीटी के अनुसार, जांच के दौरान और भी कई वित्तीय अनियमितताओं का पता चला है। कोरोना काल में इस एनाल्जेसिक (दर्द निवारक) और एंटीपीयरेटिक (बुखार कम करने वाली) दवा डोलो-650 को डॉक्टरों की ओर से इलाज में सबसे ज्यादा प्रभावी बताकर इस्तेमाल में लाया गया था।