हरिद्वार , 25अगस्त2024 : बैरागी कैंप में स्थित आश्रम के संत पुण्यानंद महाराज द्वारा ब्रहामण समाज को लेकर की गयी टिप्पणी के विरोध में युवाओं में दिखा आक्रोश किया प्रदर्शन।

बता दें कि पूर्णानंद महात्मा ने का ब्राहमणों को लेकर एक अशास्त्रीय अमर्यादित कथन कहा जिसका विडियो देखकर पूरे ब्राह्मण समाज में इसका विरोध चल रहा है‌, इसी क्रम में हरिद्वार के कनखल में हजारों की संख्या में ब्राह्मणों ने एकत्र होकर विरोध प्रदर्शन किया।

उन्होंने कहा कि अब सभी ब्राह्मण समाज एकत्रित है काशी में भी ब्राह्मणो के द्वारा इसका विरोध होना चाहिए, हिंदुस्तान के संपूर्ण ब्राह्मणो के साथ साथ अन्य राष्ट्रों के ब्राह्मणों के लिए भी इससे बढ़कर कोई दूसरा दुर्भाग्य नहीं हो सकता, इसलिए सभी को मिलजुल कर इनका विरोध व बहिष्कार करना चाहिए।

बता दें कि हरिद्वार के थाना कनखल क्षेत्र के बैरागी कैंप में स्थित आश्रम के संत पुण्यानंद महाराज द्वारा अपनी कथा के दौरान पूजनीय पंडितो को “भाड़े का टट्टू” कहने वाले तथाकथित संत के खिलाफ हरिद्वार में ब्राह्मण समाज में जबरदस्त आक्रोश। उत्पन हो गया।आक्रोशित ब्राह्मणों ने संत के बैरागी कैम्प स्थित आश्रम को घेर लिया।

हरिद्वार के बैरागी कैंप में स्थित आश्रम के तथाकथित संत पुण्यानंद द्वारा कथा की गई।जबकि कबीरदास जी कह गए हैं “ऐसी वाणी बोलिए, मन का आपा खोये, औरन को शीतल करे, आपहुं शीतल होए”। किंतु इसके विपरीत सन्त पर आरोप है कि कथा के दौरान ब्राह्मणों को लेकर अभद्र टिप्पणी की गई।पुण्यानंद की हरकत पर ब्राह्मण समाज के लोगों में खासा रोष व्याप्त हो गया।हरिद्वार के सैकड़ों ब्राह्मण आक्रोशित ब्राह्मण समाज के लोगों ने पुण्यानंद के बैरागी कैंप स्थित आश्रम के बाहर धरना प्रदर्शन करते हुए पुण्यानंद का पुतला दहन किया।इस मौके पर प्रदर्शन करने वाले युवा बेहद आक्रोशित थे।

आक्रोशित युवा का कहना है कि जब पुण्यानंद भी हरिद्वार आएंगे ब्राह्मण समाज के लोग उनका भरपूर विरोध करेंगे। संत के खिलाफ विरोध प्रदर्शन की सूचना पाकर मौके पर पहुँची पुलिस ने युवाओं को आश्रम के अंदर जाने से रोक लिया। प्रदर्शन समाप्त करने के बाद युवाओं ने शहर में तथाकथित संत के विरोध में रैली निकाली ।श्री अखंड परशुराम अखाड़े के अध्यक्ष पंडित अधीर कौशिक का कहना था कि ब्राह्मणों के विषय में अभद्र टिप्पणी करने वाले पुण्यानंद के खिलाफ श्री अखंड परशुराम अखाड़े ने कनखल थाने में तहरीर भी दी है।

अगर प्रशासन अपना काम नहीं करता है तो वे न्यायालय के माध्यम से कथित संत के खिलाफ लड़ाई लड़ेंगे।जब भी पुण्यानंद हरिद्वार आएंगे उनका जोरदार विरोध किया जाएगा। डॉ राजेंद्र पाराशर ने कहा कि ब्राह्मणों पर अभद्र टिप्पणी करने वाले ऐसे तथाकथित संत का बहिष्कार किया जाना चाहिए।

आपको बताते चलें कि स्वामी पुण्यानंद पहले निरंजनी अखाड़े के महामंडलेश्वर थे।लेकिन किसी कारणवश निरंजनी अखाड़े ने उन्हें कई साल पहले ही अपने निरंजनी अखाड़े से बर्खास्त कर दिया था।जिसके बाद वह कथाओं के माध्यम से धर्म का प्रचार प्रसार करने का दावा करते हैं। स्वामी पुण्यानंद मूल रूप से नेपाल के रहने वाले हैं और हरिद्वार में उनका बैरागी कैंप में आश्रम बना हुआ है।

 

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