हरिद्वार: बहादराबाद (वात्सल्य वाटिका) – देवभूमि उत्तराखण्ड के प्रवेश द्वार देव नगरी हरिद्वार में पतित पावनी माँ गंगा के पावन तट पर स्थित विश्व हिन्दू परिषद की योजनांतर्गत संचालित वात्सल्य वाटिका अशोक सिंघल सेवा धाम बहादराबाद मे आयोजित श्रीमद भागवत कथा का समापन अष्टम दिन किया गया।

भागवत कथा के कथा के माध्यम से विश्व हिन्दू परिषद के सेवा प्रकल्प अशोक सिंघल सेवा धाम का रजत जयंती वर्ष महोत्सव का भी समापन किया गया।

प्रातःकाल अशोक सिंघल सेवा धाम के प्रबंधक प्रदीप कुमार मिश्रा ने यजमान के रूप में विधिवत सपरिवार दैनिक पूजन किया। वात्सल्य वाटिका के नन्हे बालको ने आरती और श्री हनुमान चालीसा का पाठ किया।

श्री कृष्ण भगवान के समक्ष दीप प्रज्वलन पुष्पार्चन कर महामंडलेश्वर सुरेंद्रानंद गिरि जी महाराज के श्रीमुख से कथा के शेष भाग का अनमोल ज्ञान कथा प्रेमियों को सुनाया गया।

मंच के माध्यम से श्री महाराज जी ने प्रतिवर्ष वात्सल्य वाटिका मे श्रीमद्भागवत कथा वाचन की घोषणा की। श्रीमद्भागवत कथा के बाद भव्य यज्ञ का आयोजन हुआ जिसमे सभी के द्वारा वेद मंत्रों के साथ आहुतियाँ डाली गयी।

श्रीमद्भागवत कथा आयोजन समिति के द्वारा कथा व्यवस्था मे लगे सभी लोगों को महाराज सुरेंद्रानंद गिरि एवं राधेश्याम द्विवेदी द्वारा पुष्पमाला द्वारा सम्मानित किया गया।

श्रीमद्भागवत कथा समापन एक सामाजिक समरसता के प्रतीक स्नेह भोज द्वारा समाप्त किया गया, जिसमे सभी ने प्रेमपूर्वक प्रसाद ग्रहण किया। इस अवसर पर वात्सल्य वाटिका के समस्त कार्यकारिणी सदस्य, आयोजन समिति एवं समस्त स्टाफ सहित अन्य सहयोगी महानुभाव भी उपस्थित रहे।